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Tuesday, January 6, 2015

यदि गला बैठ जाए


यदि गला बैठ जाए तो

कभी कभी क्‍या होता है कि हमारा गला बैठ जाता है और हमारी आवाज बड़ी ही अजीब सी हो जाती है। सामने वाला आवाज सुनते ही जोरदार हंसी के साथ अपनी प्रतिक्रिया देता है और हम झेंपने लगते हैं। इस बीमारी के लिए हमारी रसोई में बहुत से उपचार मौजूद हैं। तो फिर चिंता किस बात की।


१ – हल्‍दी और गुड़ को मिलाकर गुनगुने पानी के साथ निगल जाएं। आराम मिलेगा।

२ – शलजम को पानी में उबाल कर पीने से गले खराश मिट जाती है।

३ – मुलैठी और मिश्री को मुंह में रखकर दिन चार – पांच बार चबाएं, आराम मिलेगा।

४ – अजवायन और शक्‍कर उबालकर पीने से गला खुल जाता है।

५ – सोंठ, दालचीनी, पुदीना और हरी चाय का काढ़ा बनाकर पीने से सर्दी से बैठा गला साफ हो जाएगा और कफ भी बाहर आने लगेगा।

६ – एक ग्‍लास गर्म पानी में डेढ़ चम्‍मच शहद डालकर गरारा करने से बैठा गला ठीक हो जाता है।

७ – प्‍याज के रस में थोड़ा सा शहद मिलाकर गुनगुने पानी के साथ लें। गले में आराम मिलेगा।

८ – गुनगुने पानी में नींबू का रस डालकर गरारा करें।

९ – गर्म पानी में लहसुन का रस डालकर गरारा करें। आराम मिलेगा।


१० – दस – बारह तुलसी के पत्‍ते चबाने से आधे घंटे में ही आवाज साफ हो जाती है।

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